जानिए ITR-1 और आयकर फॉर्म में क्या हुए 6 बदलाव

जानिए ITR-1 और आयकर फॉर्म में क्या हुए 6 बदलाव

 

2 जून 2020 से Income Tax Department ने ITR-1 के लिए आयकर रिटर्न तैयारी सॉफ्टवेयर को अपनी फाइलिंग पोर्टल पर उपलब्ध करा दिया है आज से सभी व्यक्तिगत करदाता वित्तीय वर्ष 2019 -20 से संबंधित अपना ITR-1 दाखिल कर सकते हैं और इसमें क्या-क्या जो परिवर्तन आए हैं उसके ऊपर प्रकाश डालेंगे

जानिए ITR-1 और आयकर फॉर्म में क्या हुए 6 बदलाव
जानिए ITR-1 और आयकर फॉर्म में क्या हुए 6 बदलाव

नकद जमा विदेश यात्रा पर खर्च और बिजली की खपत पर सरकार ने बदलाव किया है जब अंतिम बजट 2019 में आया तो सरकार ने एक धारा 139 एक में एक पैराग्राफ जोड़ा जिसमें यह कहा गया कि एक व्यक्ति जिसको पहले छूट दी गई थी कि वह धारा 139 एक के अंतर्गत रिटर्न उसे फाइल करने की कोई जरूरत नहीं है परंतु उसे अपनी यह रिटर्न फाइल करनी पड़ेगी अगर

 

1]  उसने फाइनेंशियल ईयर 2019- 20 में किसी बैंक या किसी सहकारी बैंक में एक या एक से अधिक चालू खातों में एक करोड़ से ऊपर की राशि जमा कराई है

 

2}  अगर किसी व्यक्ति का बिजली का बिल 2019- 20 में ₹100000 से अधिक का आया है और उसने उसका भुगतान किया है

 

3}  अगर किसी व्यक्ति ने किसी विदेश यात्रा के लिए स्वयं या किसी अन्य व्यक्ति के लिए ₹200000 या उससे अधिक का खर्चा जो है वह फॉरेन ट्रैवल पर खर्च किया है

 

ऊपर उपरोक्त लिखे तीनों  मे से व्यक्ति किसी भी एक शर्त में आ जाता है तो उसे अब धारा 139 एक के अंतर्गत अपनी आयकर रिटर्न भरनी पड़ेगी

 

4}  व्यक्तिगत करदाता जिन की प्राप्ति ज्वाइंट नेम से है

 

व्यक्तिगत करदाता जिनकी हाउस प्रॉपर्टी ज्वाइंट नेम से है वह भी अपनी जो अब इनकम टैक्स रिटर्न है वह ITR-1 सहज या ITR-4 सुगम में भर सकते हैं उन्हें अब ITR 2 और ITR 3 में अपने रिटर्न भरने की कोई जरूरत नहीं है

 

5}  पासपोर्ट नंबर देने की जरूरत नहीं

 

ITR-1 सहज और ITR 4 सुगम के अंतर्गत अब किसी को भी अपना पासपोर्ट नंबर देने की जरूरत नहीं है जो पहले जरूरी था

 

6}  आय में से छूट प्राप्त करने के लिए धारा 8 के अंतर्गत कोई इन्वेस्टमेंट निवेश या दान

 

किसी ने 1 अप्रैल 2020 से लेकर 30 जून 2020 तक कोई धारा 80 के अंतर्गत कोई डिडक्शन क्लेम करने के लिए कोई भी इन्वेस्टमेंट कोई पेमेंट या कोई डिपॉजिट किया है जैसे किसी ने PPF या LIC में कुछ दिया है या कोई हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी के लिए कोई पेमेंट करी है या कोई डोनेशन की राशि इस समय में दी है और वह अपने फाइनैंशल इयर 2019-20 में उसको क्लेम करना चाहता है तो उसके लिए उसको इनकम टैक्स रिटर्न में अपनी डिक्लेरेशन देनी पड़ेगी

 

 

यहां पर एक बात ध्यान देने योग्य है कि जो व्यक्ति धारा 139 एक के अंतर्गत रिटर्न भरने वाली कंडीशन में नहीं आ रहा था अगर अब उसकी यह ऊपर वाली जो कंडीशन है वह पूरी होती है तो उसे अपनी जो है अमाउंट की सारी यह डिटेल देनी पड़ेगी और इनकम टैक्स की रिटर्न भरनी पड़ेगी जो पहले से धारा 139  के अंतर्गत अपनी रिटर्न भर रहे हैं उन्हें इस तरह की कोई डिटेल अपने रिटर्न में देने की जरुरत नहीं है

 

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