Online Work करते हुए ये 5 नियम जरुर अपनाये

Online Work करते हुए ये 5 नियम जरुर अपनाये

 

आजकल ऑनलाइन होना वक्त की जरूरत बन गया है पर अगर हमने उसके चारों तरफ भी लक्ष्मण रेखा नहीं खींची तो उसकी अग्नि हमें ही जला डालेगी क्योंकि जरूरत से ज्यादा किसी भी चीज का इस्तेमाल हमेशा बुरा होता है कहा जाता है अच्छी आदत की अति भी कई बार मनुष्य को खराब करती है
शुरू शुरू में जब मोबाइल आया था तो यह किसी किसी के पास होता था धीरे धीरे करते यह समाज की जरूरत बंदा चला गया पर अब जरूरत के साथ यह लत बनता जा रहा है और कोरोना महामारी के काल में तो लोगों का उपयोग निर्भरता इसके ऊपर बहुत ज्यादा बढ़ गई है कि घर में कोई रिश्तेदार कोई सगे संबंधी मिले या ना मिले पर मोबाइल और इंटरनेट यह मिलना बहुत जरूरी है कोई नियम कोई कानून कोई कायदे नहीं रह गए कोई रिश्तो को निभाने की जरूरत नहीं समझी जा रही पास बैठे व्यक्तियों से बातचीत नहीं हो रही है और दूर बैठे व्यक्तियों से मोहब्बत निभाई जा रही है ऑनलाइन के साथ माना कि आज काम सारा कंप्यूटर से घर से बैठकर हो रहा है माना कि पढ़ाई आज मोबाइल या लैपटॉप से हो रही है कोरोना के चलते हम बाहर नहीं जा पा रहे पर जिस तरह से हमने अपनी जिंदगी जीने के लिए बाकी चीजों के नियम बनाए हैं उस तरह से हमें ऑनलाइन जाने के भी नियम बनाने होंगे नहीं तो वह दिन दूर नहीं जब हमें इंटरनेट की या मोबाइल की या लैपटॉप की लत को छुड़ाने के लिए डॉक्टर की सहायता लेनी पड़ेगी
ऑनलाइन रहने के 5 नियम जिनका पालन करके आप सही तरीके से इंटरनेट और इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स का प्रयोग कर सकते हैं

1) घड़ी देखकर टाइम सुनिश्चित करें
बच्चों के ऊपर हम अनुशासन लगाते हैं कि आपने वीडियो गेम मोबाइल फोन या लैपटॉप घड़ी की सुई के हिसाब से चलाना है और जब वह नहीं उस पर खरे उतरते तो हम उनको डांट लगाते हैं तो अब क्योंकि यह नियम अनुशासन आपको अपने ऊपर लागू करना है तो आपको खुद ही अपने मन से आपको डांटना हुआ कि मैंने 1 घंटे का 2 घंटे का टाइम निश्चित किया था तो इससे ज्यादा का वक्त हो गया अब मुझे इसको बंद करना है मुझे अनुशासन में रहना है तभी आप ऑनलाइन कितने टाइम आए हैं और उस ऑनलाइन में आपने क्या उत्पादकता वाला काम किया है आपको समझ में आ जाएगा

2)  स्क्रीन टाइम रोज चेक करें
ब हम ऑनलाइन होते हैं तो हम भूल जाते हैं कि हमने कितना वक्त मोबाइल या कंप्यूटर के सामने बिठा दिया आंखों पर भी असर पड़ा स्वास्थ्य पर भी असर पड़ा मानसिक स्वास्थ्य पर तो पढ़ा ही पड़ा आप मोबाइल में एक ऐप डाउनलोड कर लीजिए जिसमें स्क्रीन का टाइम चेक होता है कि आपने रोज की तरह टाइम स्क्रीन के सामने बताया है और कोशिश कीजिए उस टाइम को रोज 5 से 10 मिनट तक रिड्यूस करने की आदत डालिए धीरे-धीरे करके आप अनुशासित होते चले जाएंगे

3)  सैर के लिए जाते हुए मोबाइल ना लें
ऑनलाइन कि यह सभी साधन हमारा मन बहला करते हैं कुछ थोड़े समय के लिए पर कुछ समय बाद हमें उनसे बोरियत भी लगने लगती है कभी-कभी हम कोई अपनी पोस्ट डालते हैं तो बार-बार उसको खोल कर चेक करते रहते हैं कितने लाइक आए कितने कमेंट आए कभी हम फेसबुक खोलते हैं कभी आप व्हाट्सएप खोलते हैं कभी हम इंस्टाग्राम खोलते हैं कभी हम टेलीग्राम खोलते हैं तो एक वक्त ऐसा बना लीजिए सैर करने का  या चहल कदमी करने का उस समय आप मोबाइल को साथ लेकर नहीं जाएंगे और अगर लेकर जाएंगे तो सिर्फ आप अपनी मनपसंद का कोई म्यूजिक सुने या वह भी मत सुने उस समय अपने आपको मोबाइल फ्री रखे और प्लेलिस्ट भी पहले से बना कर रखें क्योंकि नहीं तो शेयर करते हुए आप मोबाइल में ही गुम हो जाएंगे या फिर मोबाइल पर आप रेडियो सुनें
4) ऑफिस के काम का पहले से ही निश्चित कर ले
Work From Home culture होने की वजह से हमने अपना रूटीन ऐसा बना लिया है कि हम कभी भी किसी भी टाइम पर ऑफिस का काम ऑनलाइन पूरा कर लेंगे एक बार हम दिन में काम पूरा नहीं करते और रात की नींद हम अपनी ऑनलाइन काम करते हुए खराब कर देते हैं और नींद की गड़बड़ी जब हमारी होनी शुरू होती है तो हमारा अगला दिन जो है वो ताजगी भरा नहीं होगा अगर विशेषज्ञों की माने तो वह कहते हैं कि जब आपने सोना हो उससे एक घंटा पहले आप अपने सारे इलेक्ट्रॉनिक गैजेट से दूर हो जाएं परिवार वालों के साथ समय बिताएं चहल कदमी करें कोई किताब पढ़ें पर किताब आप लैपटॉप या किसी किंडल एप पर नहीं पड़ेंगे हार्ड कॉपी लेकर उसे पढ़े ताकि आपकी नींद जो है वह पूरी हो सके और अगला दिन आपका ताजी भरा हो

ऑनलाइन का यह मतलब नहीं कि आप सुबह सुबह ही जैसे ही बेड से उठे और मोबाइल लेकर बैठ गए या लैपटॉप लेकर बैठ कर तो रोज के काम तो देरी से होंगे होंगे और तनाव भी होना शुरू हो जाएगा इसलिए सुबह बिस्तर से उठते ही मोबाइल या लैपटॉप को ना उठाएं कोशिश यही करें कि रात को बिस्तर से यह इलेक्ट्रॉनिक गेजेट्स दूर रखकर ही सोएं और सुबह का कुछ समय योगा ध्यान में बताएं अगर इस में मन नहीं लगता तो कुछ समय वैसे ही चाय का कप लेकर  अपने साथ आनंद लें

ऑनलाइन रहिए पर अपनी नियमित दिनचर्या जरूर बनाइए वक्त मुश्किल का है पर कटेगा जरूर इसलिए हमेशा मुस्कुराइए ऑनलाइन को लत ना बनाइए कि इसके लिए कल हमें डॉक्टर की सहायता लेनी पड़े उतना ही इस्तेमाल कीजिए जितना जरूरी हो सब्जी में अगर नमक भी ज्यादा पड़ जाता है तो वह भी नहीं खाई जाती यह तो फिर ऑनलाइन की लत है अगर लग गई तो यह हमारे रिश्तो को संबंधों को परिवार को सबको खत्म कर देगी
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